Children will receive 2,000 rupees every month under the private sponsorship scheme.
Special Correspondent, Sahara Samachaar, Katni.
कटनी। जिले के बेसहारा बच्चों के जीवन में खुशियों और उम्मीदों की रोशनी बिखेरने के प्रकल्प में जुटे कलेक्टर अवि प्रसाद ने सोमवार को दो और बेसहारा बच्चों के भविष्य को संवारने का निमित्त बन गये। अपने माता-पिता को असमय खो चुके दोनों अनाथ बच्चों के जीवन को स्पान्सरशिप योजना से जोड़कर कलेक्टर श्री प्रसाद ने खुशियों के रंग भर दिये।
कलेक्टर श्री प्रसाद ने दो बेसहारा बच्चों की शिक्षा-दीक्षा के लिए निजी स्पान्सरशिप योजना के तहत दो हजार रूपये प्रतिमाह की सहायता राशि का प्रकरण स्वीकृत कर दोनों बच्चों के संरक्षकों को सोमवार को कलेक्ट्रेट कार्यालय के सभाकक्ष में दो-दो हजार रूपये की पहली किश्त का चेक प्रदान किया।
बच्चों की शिक्षा दीक्षा में नहीं आए बाधा
अपने माता पिता में से किसी एक को खो चुके 18 वर्ष से कम आयु के बच्चों के भरण पोषण और शिक्षा में किसी प्रकार की कोई बाधा न आए इसके लिए बाल संरक्षण अधिनियम 2015 अंतर्गत उन्हें सहायता राशि प्रदान करने के लिए निजी स्पॉन्सरशिप योजना का संचालन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा किया जाता है। इस योजना को जिले में और अधिक प्रभावी बनाते हुए संवेदनशील कलेक्टर श्री प्रसाद द्वारा औद्योगिक घरानों के सीएसआर मद से ऐसे बच्चों को वयस्क होने तक आर्थिक सहायता मुहैया कराने का प्रावधान किया गया है। जिससे आर्थिक तंगी किसी भी बेसहारा बच्चे की प्रगति की राह में रोड़ा न बन सके।
इन बच्चों को मिली सहायता राशि
जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास और उप संचालक पंचायत एवं सामाजिक न्याय नयन सिंह ने बताया कि कलेक्टर अवि प्रसाद के निर्देश पर शासकीय यशोदा बाई मा.शा. कटनी की कक्षा सातवीं में पढ़ने वाली आराध्या चमड़िया उम्र 10 वर्ष के संरक्षक संजय चमड़िया निवासी सावरकार वार्ड नम्बर 10 और शासकीय माध्यमिक शाला गनियारी में छठवीं कक्षा में अध्ययनरत हिमांशु कुशवाहा उम्र 11 वर्ष के संरक्षक उनकी दादी जानकी बाई कुशवाहा को 2-2 हजार रूपये की सहायता राशि का चेक प्रदान किया गया। भविष्य में अब इनकी सहायता राशि संबंधित बेसहारा बच्चों के संरक्षकों के बैंक खाते में सीधे स्थानान्तरित की जायेगी।